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केंद्रीय मंत्री डॉ. वीरेंद्र कुमार ने अंतर विश्वविद्यालयीन राज्य स्तरीय युवा उत्सव का किया शुभारंभ

 22 विधाओं की स्पर्धा शुरू हुई


10 विश्वविद्यालयों के प्रतिभागी छात्र ले रहे हिस्सा


बुन्देलखण्ड यूनिवर्सिटी को मिली अम्बेडकर अनुसंधान शोध पीठ, 150-150 सीर्ट्स के बालक एवं बालिका छात्रावासों की सौगात


केन्द्रीय मंत्री ने की घोषणा

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महाराजा छत्रसाल बुंदेलखण्ड यूनिवर्सिटी छतरपुर के प्रांगण में 10 मार्च को दो दिवसीय राज्य स्तरीय युवा उत्सव का शुभारंभ केंद्रीय सामाजिक न्याय अधिकारिता कल्याण मंत्री डॉ. वीरेंद्र कुमार के मुख्य आतिथ्य में संपन्न हुआ। उन्होंने  मां सरस्वती के चित्र पर भारतीय वैदिक संस्कृति श्लोक एवं मंत्र उच्चारण प्रक्रिया के बीच दीप प्रज्जवलित एवं माल्यार्पण किया।

मंचासीन विभूतियां

कार्यक्रम में कलेक्टर श्री संदीप जी आर, कुलपति प्रो. टी.आर. थापक, बुन्देलखण्ड के प्रख्यात साहित्यकार और पद्मश्री सम्मान से सम्मानित डॉ. अवध किशोर जड़िया तथा एनएसएस अधिकारी डॉ. आर.के. विजय, कर्नल गोयात और डॉ. जे.पी. मिश्र कुल सचिव, चित्रकार रामकुमार सोनी, सांसद प्रतिनिधि श्री धीरेन्द्र नायक, श्री पुष्पेन्द्र प्रताप सिंह, डॉ. बलराम नामदेव मंचासीन रहे। युवा उत्सव का समापन 11 मार्च को सायं 4 बजे होगा।

केन्द्रीय मंत्री ने बुन्देलखण्ड यूनिवर्सिटी के तत्वाधान में आयोजित किये गये राज्य स्तरीय आयोजन के लिये शासन का आभार प्रकट करते हुये कहा कि यह धरा शौर्य एवं साहस की भूूमि है। यहां की माटी में हीरे जवाहरात निकलते है, यहां की भूमि से रानी लक्ष्मीबाई जैसी वीरांगना, आल्हा-ऊदल, महाराजा छत्रसाल हुये है जो इतिहास में अमिट है।

उन्होंने राज्य स्तरीय आयोजन में भाग लें रहे युवाओं का भी आभार प्रकट किया और आयोजित प्रतिस्पर्धा में अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने का आव्हान किया। उन्होंने आशा जताई कि आने वाले दिनों में बुन्देलखण्ड क्षेत्र की तस्वीर बदलेंगी। यह क्षेत्र विश्वविद्यालयीन अनुसंधान प्रतीक केन्द्र के रूप में उभरेगा।

उन्होंने सामाजिक अधिकारिता एवं न्याय मंत्रालय की ओर से बुन्देलखण्ड यूनिवर्सिटी कैम्पस में अम्बेडकर अनुसंधान शोध पीठ के साथ-साथ 150-150 सीटर्स के बालक एवं बालिका छात्रावासों के निर्माण कराने की घोषणा भी की। अनुसंधान पीठ के लिये प्रतिवर्ष 75 लाख रुपये मिलेंगे। तो शोध करने वाले प्रतिभागियों को मानदेय भी मिलेगा।

केन्द्रीय मंत्री ने आशा जताई की महाराजा छत्रसाल यूनिवर्सिटी शिक्षा के क्षेत्र में अपनी पहचान समाज एवं देश में बनाएंगी। उन्होंने राज्य स्तरीय आयोजन में भाग लेने आये युवाओं का आव्हान करते हुये कहा कि ‘‘चिंता करों न इसकी कभी, विजय कौन पराजित कौन, केवल देखों खेल के रण को, हंसते हंसते खेला कौन’ इस भावना को साकार करें।


स्वच्छता एवं नशा मुक्ति के लिये युवा आगे आये: कलेक्टर


कलेक्टर श्री संदीप जी आर ने राज्य स्तरीय आयोजन में भाग ले रहे युवा शक्तियों से आव्हान करते हुये कहा कि नशा मुक्ति से दूर रहे और समाज को भी दूर रहने के लिये जागृत करें, साथ ही छतरपुर जिले को स्वच्छता के मामले में आगे लाये इसके लिये युवा आगे आकर सहभागिता निभाये।

कुलपति प्रो. टी.आर. थापक ने कहा कि युवा भागीदारी के बिना समाज एवं देश अधूरा है। उन्होंने युवा शक्तियों को जागृत करते हुये कहा कि खुद के ऊपर विश्वास रखे। ज्ञान सृजन के परिणाम स्वरूप वह समय भी जरूर आएगा। जब घड़ी दूसरों की होगी और समय युवाओं का होगा।

पद्यश्री पुरस्कार से सम्मानित डॉ. अवध किशोर जड़िया ने उन्हें सम्मानित करने पर कहा कि ये सम्मान मां शारदा, बुन्देलखण्ड के साथ-साथ शिक्षा का सम्मान है। इस आयोजन में वे अपनी उपस्थिति देकर स्वयं हर्षित एवं गौरन्वित हुये है। इस अवसर पर डॉ. अवध किशोर जड़िया, कलेक्टर संदीप जी आर और चित्रकार रामकुमार सोनी का शॉल एवं श्रीफल तथा महाराजा छत्रसाल का प्रतीक चिन्ह भेंटकर सम्मान किया गया। कार्यक्रम में कुल सचिव श्री जे.पी. मिश्र और श्रीमती ममता वाजपेयी ने भी संबोधित किया। चित्रकार श्री रामकुमार सोनी द्वारा महाराजा छत्रसाल के बनाये गये चित्र का लोकार्पण केन्द्रीय मंत्री एवं कुलपति द्वारा किया गया। कार्यक्रम में अतिथियों का पुष्पगुच्छ भेंटकर एवं बैज लगाकर स्वागत किया गया।  

राज्य स्तरीय आयोजन में प्रदेश के 10 विश्वविद्यालयों के 550 युवा प्रतिभागी भाग लेने यहां उपस्थित हुये। प्रारंभ में छात्राओं द्वारा सरस्वती वंदना एवं कुलगान की प्रस्तुति दी गई। समापन पर राष्ट्रगान की प्रस्तुति हुई।


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