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कोरोना संक्रमित व्यक्तियों के आइसोलेशन और उपचार के संबंध में आदेश जारी

 कलेक्टर एवं जिला दण्डाधिकारी शीलेन्द्र सिंह ने संचालनालय स्वास्थ्य सेवाएं भोपाल द्वारा कोविड-19 महामारी की रोकथाम के लिए फर्स्ट कॉन्टैक्ट व्यक्तियों की सैंपल टेस्टिंग और क्वारेंटाइन के संबंध में गत 5 अगस्त को जारी निर्देशों के अनुक्रम में संक्रमित व्यक्ति की पहचान, आइसोलेशन, जांच और उपचार के संबंध में आदेश जारी किया है।

जिला दण्डाधिकारी द्वारा दण्ड प्रक्रिया संहिता 1973 की धारा 144 के तहत जारी किए गए आदेश में म.प्र. पब्लिक हेल्थ अधिनियम 1949 की धारा 71(1) एवं (2) के प्रावधान अंतर्गत निर्धारित मानकों का पालन सुनिश्चित कराने के निर्देश दिए गए हैं, जिसके तहत कोविड-19 संक्रमण के पॉजिटिव रोगियों के सम्पर्क में आए व्यक्तियों को उच्च जोखिम श्रेणी में माना गया है और पॉजिटिव रोगी से 1 मीटर से कम दूरी या मास्क और अन्य सुरक्षा उपायों को अपनाए बगैर सम्पर्क में आने वाले फर्स्ट कॉन्टेक्ट के परिवार के सदस्यों, सहकर्मियों, शारीरिक सम्पर्क में आने वाले सेवा प्रदाताओं को 24 घंटे के भीतर चिन्हित किया जाना जरूरी है। इन चिन्हित व्यक्तियों को समुदाय से पृथक कर 14 दिन के लिए होम क्वारेंटाइन करने और घर पर पृथक सुविधा न होने की स्थिति में कोविड केयर सेंटर अथवा क्वारेंटाइन सेंटर में रखने के निर्देश दिए गए हैं।
इसी तरह आदेश में उल्लेख है कि आईसीएमआर की मार्गदर्शिका के अनुसार ऐसे फर्स्ट कॉन्टेक्ट का थ्रोट-स्वाव/नेजल-स्वाव द्वारा कोविड-19 जांच के लिए तात्कालिक रूप से सैंपल एसएआरआई/आईएलआई के लक्षण मिलने पर ही लिया जाए, जबकि अन्य परिस्थितियों (एसिम्प्टोमेटिक) में फर्स्ट कॉन्टेक्ट का सैंपल कलेक्शन पॉजिटिव आए व्यक्ति के सम्पर्क दिनांक से 5 से 10 दिवस में प्राप्त करना होगा, क्योंकि सामान्यतः 5 दिन के पहले लिए गए सैंपल की टेस्ट रिपोर्ट निगेटिव आने की संभावना अधिक होती है। इस स्थिति में लक्षण रहित संक्रमित व्यक्ति, समुदाय में संक्रमण फैलाने का कारण बनते हैं। होम क्वारेंटाइन में लक्षण मिलने पर फर्स्ट कॉन्टेक्ट को लक्षण के अनुसार सेंटर मंे भर्ती कराना जरूरी है।
उक्त अवधि में टेलीफोन कॉलिंग सुविधा अथवा मैदानी अमले द्वारा संबंधित से संबंध स्थापित कराया जाएगा और बुखार, खांसी अथवा सांस की तकलीफ के संबंध में तत्काल जानकारी ली जाएगी। गाइडलाइन के अनुसार कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग और जांच के नमूने कोविड-19 के लक्षण वाले और बगैर लक्षण वाले सम्पर्क व्यक्तियों के सैंपल लिया जाना भी सुनिश्चित करना होगा।
जिला दण्डाधिकारी ने अपने क्षेत्रांतर्गत आदेश का पालन कराने की जिम्मेवारी एसडीएम और एसडीओपी को सौंपी है। आदेश के उल्लंघन पर संबंधित थाना प्रभारी आवश्यक कार्यवाही सुनिश्चित करेंगे। उक्त आदेश छतरपुर जिले की सम्पूर्ण राजस्व सीमा क्षेत्र में तत्काल प्रभाव से लागू हो गया है। आदेश के उल्लंघन पर आपदा प्रबंधन अधिनियम की धारा 51 से 60 के प्रावधानों के साथ-साथ भारतीय दण्ड संहिता की धारा 188 के तहत दण्डनीय कार्यवाही की जाएगी।  

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